राजनीति

विधानसभा सत्र से पहले “साय मंत्रिमंडल” का गठन! 17 को दिल्ली दौरे पर रहेंगे CM साय, शीर्ष नेतृत्व से करेंगे मुलाकात…शपथ को लेकर Deputy CM साव ने दिया संकेत

छत्तीसगढ़ में विष्णुदेव साय सरकार के कैबिनेट के चेहरों पर जल्द ही मुहर लग सकती है । Deputy CM अरुण साव ने कहा कि CM  विष्णुदेव साय 17 दिसंबर को दिल्ली जाएंगे. इस दौरान मंत्रिमंडल को लेकर बीजेपी के शीर्ष नेताओं से चर्चा होने की सम्भावना है. मुलाकात के बाद कैबिनेट गठन को हरीझंडी मिल सकती है. विधानसभा सत्र से पहले मंत्रिमंडल का शपथ ग्रहण होने की सम्भावना है.
आपको बता दें CM साय समेत उप मुख्यमंत्री द्वय अरुण साव और विजय शर्मा सरकार में नए चेहरे के रूप में शामिल हुए हैं। ऐसे में साय कैबिनेट में नए-पुराने चेहरों का समावेश देखने को मिल सकता है, इसके साथ ही युवा शक्ति के अनुभव को देखते हुए उन्हें भी  स्थान मिल सकता है |
इस विधानसभा चुनाव में 16 ऐसे प्रत्याशियों को भाजपा ने मैदान में उतार गया था, जो रमन के कार्यकाल में मंत्री रहे थे। इनमें 11 चुनाव जीत चुके हैं। इसी तरह से भाजपा ने प्रदेश के चार लोकसभा सदस्यों को भी चुनाव मैदान में उतारा था । पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह को विधानसभा अध्यक्ष की जिम्मेदारी दी गई है। मंत्री मंडल में दो ओबीसी, 3 से 4 सामान्य वर्ग से और दो अनुसूचित जाति वर्ग के विधायकों को मौका मिल सकता है।
नए-पुराने चेहरों का समावेश : नबीन 
साय कैबिनेट में नए-पुराने चेहरों का समावेश देखने को मिल सकता है, इसके साथ ही युवा शक्ति के अनुभव को देखते हुए उन्हें भी  स्थान मिल सकता है | प्रदेश के सह प्रदेश प्रभारी नितिन नबीन ने कहा साय मंत्रीमंडल में पुराने लोगों का अनुभव और नए लोगों की ऊर्जा का समावेश होगा।
इन चेहरों पर लगा सकती हैं दांव
छत्‍तीसगढ़ सरकार के नए मंत्रिमंडल में धरमलाल कौशिक, ओपी चौधरी, राजेश मूणत, डोमन लाल कोर्सेवाडा, अजय चंद्राकर, रेणुका सिंह, बृजमोहन अग्रवाल, विक्रम उसेंडी, केदार कश्यप, रामविचार नेताम और अमर अग्रवाल को जिम्‍मेंदारी मिल सकती है।
बड़े चेहरे को संतुष्ट करने के लिए बना सकते हैं प्रदेशाध्यक्ष
पार्टी सूत्रों के अनुसार, यदि मंत्रिमंडल में कुछ बड़े चेहरे शामिल नहीं हो पाए तो उन्हें पार्टी का प्रदेशाध्यक्ष भी नियुक्त किया जा सकता है। अभी प्रदेशाध्यक्ष अरुण साव हैं, मगर उन्हें उप मुख्यमंत्री बनाए जाने के बाद जिम्मेदारी बढ़ने के कारण पार्टी उन्हें इस पद से मुक्त कर सकती है। फिलहाल पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष के रूप में लोकसभा सदस्य विजय बघेल के नाम की भी चर्चा है।

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